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Bageshwar Winter Trek : अक्टूबर से फरवरी के बीच यहां की वादियां बर्फ चादर ओढ़ लेती हैं. यहां का ग्लेशियर ट्रेक उत्तराखंड के सबसे सुंदर और लोकप्रिय विंटर ट्रेक जाता है. यह ट्रेक बागेश्वर और पिथौरागढ़ जिलों की सीमा से होकर गुजरता है.
बागेश्वर. कुमाऊं हिमालय की गोद में बसा पिंडारी ग्लेशियर इन दिनों सर्दियों के आगमन के साथ पर्यटकों और ट्रेकिंग प्रेमियों के लिए आकर्षण का केंद्र बना हुआ है.लगभग 3,660 मीटर की ऊंचाई पर स्थित यह ग्लेशियर न केवल अपनी प्राकृतिक सुंदरता के लिए प्रसिद्ध है, बल्कि यहां की शांत वादियां, बर्फ से ढकी चोटियां और देवदार के जंगल एक अद्भुत अनुभव प्रदान करते हैं. अक्टूबर से फरवरी के बीच यहां की वादियां बर्फ की सफेद चादर ओढ़ लेती हैं. जिससे यह स्थान सर्दियों के दौरान ट्रेकिंग और एडवेंचर का स्वर्ग बन जाता है. पिंडारी ग्लेशियर ट्रेक उत्तराखंड के सबसे सुंदर और लोकप्रिय विंटर ट्रेक में से एक माना जाता है. यह ट्रेक बागेश्वर और पिथौरागढ़ जिलों की सीमा से होकर गुजरता है, जो प्राकृतिक दृश्यों से भरपूर मार्गों के लिए प्रसिद्ध है. इस ट्रेक की शुरुआत खाती गांव से होती है. इसके बाद धाकुरी, द्वाली और फुर्किया जैसे सुंदर पड़ावों से होकर ट्रेकर्स ग्लेशियर तक पहुंचते हैं. प्रत्येक पड़ाव पर बर्फ से ढकी पर्वत चोटियां, झरने और घने जंगल पर्यटकों का मन मोह लेते हैं.
यह ट्रेक न केवल अनुभवी ट्रेकर्स बल्कि शुरुआती यात्रियों के लिए भी अनुकूल माना जाता है. मार्ग अपेक्षाकृत सुगम है और रास्ते में स्थानीय गाइड, पोर्टर और होमस्टे सुविधाएं आसानी से उपलब्ध हैं. स्थानीय ग्रामीणों की ओर से संचालित होमस्टे यात्रियों को न केवल सुरक्षित ठहराव देते हैं, बल्कि उन्हें कुमाऊं की पारंपरिक जीवनशैली और भोजन का अनुभव भी कराते हैं. सर्दियों में यहां पर सुबह की पहली किरणें जब बर्फ से ढकी चोटियों पर पड़ती हैं, तो दृश्य किसी स्वर्ग से कम नहीं लगता है.
कैसे पहुंचे पिंडारी ग्लेशियर
पिंडारी ग्लेशियर तक पहुंचने के लिए पर्यटकों को पहले बागेश्वर या कपकोट आना होता है. यहां से जीप या कार के माध्यम से खाती गांव तक यात्रा की जा सकती है. यहीं से पैदल ट्रेक की शुरुआत होती है. कुल ट्रेक की लंबाई करीब 45 किलोमीटर मानी जाती है. जिसे सामान्यतः 5 से 6 दिनों में पूरा किया जा सकता है. गांवों में ठहरने वाले ट्रेकर्स को यहां के लोग पारंपरिक व्यंजनों जैसे भट्ट की चुड़कानी, जंगली साग और मंडुवे की रोटी से स्वागत करते हैं.
नया रोमांच
पिंडारी ग्लेशियर ट्रेक पर जाते समय पर्यटकों को पर्यावरण संरक्षण का विशेष ध्यान रखना चाहिए. कूड़ा-कचरा साथ लेकर लौटें और प्राकृतिक धरोहर को नुकसान न पहुंचाएं. स्थानीय गाइडों के निर्देशों का पालन करें ताकि यह सुंदर हिमालयी क्षेत्र अपनी पवित्रता और सुंदरता बनाए रख सके. हां की बर्फीली वादियां, शांत वातावरण और स्थानीय लोगों की सादगी आपको बार-बार लौट आने के लिए प्रेरित करेंगी. इस सर्दी पिंडारी जाएं, प्रकृति को महसूस करें और अपने जीवन में एक नया रोमांच जोड़ें.

Priyanshu has more than 10 years of experience in journalism. Before News 18 (Network 18 Group), he had worked with Rajsthan Patrika and Amar Ujala. He has Studied Journalism from Indian Institute of Mass Commu…और पढ़ें
Priyanshu has more than 10 years of experience in journalism. Before News 18 (Network 18 Group), he had worked with Rajsthan Patrika and Amar Ujala. He has Studied Journalism from Indian Institute of Mass Commu… और पढ़ें
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