अयोध्या : वैदिक ज्योतिष शास्त्र में शनि देव को सबसे शक्तिशाली और क्रूर ग्रह माना जाता है. गौरतलब है कि शनि ग्रहों में सबसे धीमी चाल से चलते हैं. शनि की गोचर अवधि लगभग ढाई साल होती है. यह एक राशि में लगभग ढाई साल और एक नक्षत्र में करीब एक साल रहते हैं. इसलिए, एक नक्षत्र में दोबारा आने में करीब 27 साल का समय लग जाता है.
दरअसल, अयोध्या के प्रसिद्ध ज्योतिषाचार्य पंडित कल्कि राम बताते हैं कि ज्योतिष गणना के मुताबिक 15 जून को शाम 7:57 पर शनि देव, गुरु के साथ एक दूसरे से 90 डिग्री पर होंगे, जिससे केंद्र योग का निर्माण होगा. इस योग के निर्माण से कुछ राशि के जातकों को बंपर लाभ मिलेगा, जिसमें मेष राशि, कर्क राशि और मकर राशि के जातक शामिल हैं.
कर्क राशि: कर्क राशि के जातकों के लिए यह समय अच्छा रहेगा. धार्मिक कार्यों में रुचि बढ़ेगी, समाज में मान-सम्मान बढ़ेगा, स्वास्थ्य संबंधित परेशानियां दूर होंगी, पूजा-पाठ में मन लगेगा, और दांपत्य जीवन भी मधुर रहेगा. नौकरी में सीनियर का साथ मिलेगा और करियर संबंधित परेशानियां दूर होंगी.
मकर राशि: मकर राशि के जातकों के लिए हर क्षेत्र में अपार सफलता प्राप्त होगी. भाई-बहनों के साथ रिश्ते मधुर होंगे, दांपत्य जीवन खुशहाल रहेगा, अचानक धन की प्राप्ति होगी, शनि देव की कृपा से रुका हुआ कार्य भी पूरा होगा, और समाज में मान-सम्मान बढ़ेगा.
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