Monday, September 22, 2025
30 C
Surat

Kainchi Dham: नीम करोली बाबा के आश्रम कैंची धाम से ये चीजें लाना बिल्कुल भी न भूलें, बदल जाएगी किस्मत !


Last Updated:

Neem Karoli Baba: कैंची धाम की यात्रा आपके जीवन में क्रांतिकारी बदलाव ला सकती है. यहां पहुंचते ही एक अद्भुत ऊर्जा का अनुभव होता है, जो महाराज जी की कृपा से प्रवाहित होती है. यह स्थान अपने आप में दिव्यता का प्रत…और पढ़ें

नीम करोली बाबा के कैंची धाम से ये चीजें लाना न भूलें, बदल जाएगी किस्मत !

कैंची धाम से कुछ चीजें जरूर घर लेकर आनी चाहिए.

हाइलाइट्स

  • कैंची धाम नैनीताल से 38 किलोमीटर दूर स्थित है.
  • महाराज जी को लड्डू और सात्विक भोजन अर्पित करें.
  • कैंची धाम से चने-हलवे का प्रसाद और पवित्र मिट्टी लाएं.

Kainchi Dham: उत्तराखंड प्राकृतिक सुंदरता, नदियों, पर्वतों और धार्मिक स्थलों का खजाना है. यह न केवल पर्यटन और रोमांच प्रेमियों के लिए बल्कि भक्तों और आध्यात्मिक साधकों के लिए भी एक खास स्थान है. इन्हीं स्थानों में से एक है कैंची धाम, जो कुमाऊं पहाड़ियों में बसा एक सुंदर और शांत आश्रम है. यह नैनीताल से लगभग 38 किलोमीटर दूर स्थित है और यहां हर साल हजारों श्रद्धालु आते हैं.

आश्रम में सख्त नियमों का पालन किया जाता है और यहां ठहरने वाले भक्तों के लिए सुबह और शाम की आरती में शामिल होना अनिवार्य होता है.अगर आप कैंची धाम जा रहे हैं, तो आपको कुछ चीजों को विशेष ध्यान रखना चाहिए और वहां से कुछ चीजें अवश्य लेकर आनी चाहिए. आइए जानते हैं उसके बारे में…

महाराज जी को अर्पित करने के लिए क्या लेकर जाएं?
लड्डू का भोग: हनुमान जी के अवतार माने जाने वाले महाराज जी को लड्डू अत्यंत प्रिय हैं. घर से बने सात्विक भोजन या लड्डू का भोग अर्पित करना सबसे शुभ माना जाता है.

सात्विक प्रसाद: घर में बना हुआ कोई भी शुद्ध भोजन, जिसे आप भक्ति भाव से तैयार करें, वह भी अर्पित किया जा सकता है.

कैंची धाम से क्या लेकर आएं?

प्रसाद: यहां से मिलने वाला चने और हलवे का प्रसाद घर लेकर जाएं और अपने परिवारजनों को वितरित करें. यह प्रसाद जितने अधिक लोगों तक पहुंचेगा, उतनी ही अधिक कृपा प्राप्त होगी.

धाम की पवित्र मिट्टी: कैंची धाम की मिट्टी अत्यंत दिव्य और सकारात्मक ऊर्जा से भरपूर होती है. इसे घर लाकर किसी पवित्र स्थान पर रखें. यह न केवल आपको महाराज जी की स्मृति दिलाएगी, बल्कि घर में शुभता और सकारात्मकता भी बढ़ाएगी.

महाराज जी का चित्र: अगर आपके पास अभी तक महाराज जी की तस्वीर नहीं है, तो धाम के आसपास की दुकानों से एक छवि चित्र प्राप्त कर सकते हैं. इसे घर में स्थापित करने से श्री महाराज जी का आशीर्वाद सदैव बना रहेगा और यात्रा की स्मृति भी जीवंत रहेगी.

नीम करौली बाबा कौन थे?
नीम करौली बाबा, जिन्हें उनके भक्त महाराज जी कहते हैं, हनुमान जी के परम भक्त और एक प्रसिद्ध संत थे. उनका जन्म एक ब्राह्मण परिवार में लक्ष्मण नारायण शर्मा के रूप में हुआ था. 11 वर्ष की उम्र में उनका विवाह हो गया, लेकिन वे घर छोड़कर एक साधु बन गए.

1942 में, महाराज जी और श्री पूर्णानंद जी ने मिलकर इस स्थान पर एक आश्रम बनाने की योजना बनाई. इस स्थान पर पहले सोबरी महाराज और साधु प्रेमी बाबा यज्ञ किया करते थे. बाद में महाराज जी ने यहां हनुमान मंदिर का निर्माण कराया और भक्तों के लिए एक आश्रम बनवाया. धीरे-धीरे यहां भंडारे, कीर्तन और भजन होने लगे और श्रद्धालुओं की संख्या बढ़ती गई.

कैसे पहुंचे कैंची धाम?

  • सड़क मार्ग से: नैनीताल से लगभग 18 किलोमीटर दूर भवाली से टैक्सी या बस के जरिए आसानी से पहुंचा जा सकता है.
  • रेल मार्ग से: काठगोदाम रेलवे स्टेशन सबसे नजदीकी स्टेशन है, जहां से बसें और टैक्सियां उपलब्ध हैं.
  • हवाई मार्ग से: पंतनगर हवाई अड्डा (लगभग 76 किलोमीटर दूर) निकटतम एयरपोर्ट है, जहां से टैक्सी द्वारा कैंची धाम पहुंच सकते हैं.
homeastro

नीम करोली बाबा के कैंची धाम से ये चीजें लाना न भूलें, बदल जाएगी किस्मत !


.
.
.
.
.
.
.
.
.
.
.
.
.
.
.

https://hindi.news18.com/news/astro/astro-tips-travel-tips-kainchi-dham-neem-karoli-baba-what-to-take-and-bring-back-kainchi-dham-se-ye-chizein-jarur-sath-layein-9095907.html

Hot this week

PM Modi visits Shaktipeeth Tripura Sundari Temple : PM Modi in Shaktipeeth Tripura Sundari Mandir shardiya Navratri frist day | Navratri के पहले दिन...

त्रिपुरा में 524 साल पुराने शक्तिपीठ माता त्रिपुर...

Which Vitamin Deficiency Causes Dark Skin: स्किन के लिए विटामिन B12 और D की कमी के असर और समाधान.

Last Updated:September 22, 2025, 15:53 ISTहेल्थलाइन रिपोर्ट के...

Topics

PM Modi visits Shaktipeeth Tripura Sundari Temple : PM Modi in Shaktipeeth Tripura Sundari Mandir shardiya Navratri frist day | Navratri के पहले दिन...

त्रिपुरा में 524 साल पुराने शक्तिपीठ माता त्रिपुर...
spot_img

Related Articles

Popular Categories

spot_imgspot_img