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Yamraj Mandir: विश्व का एक मात्र ऐसा मंदिर जहां बहन के साथ यमराज की होती है पूजा, भाई दूज से है विशेष संबंध


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Yamraj Mandir Mathura: मथुरा के विश्राम घाट स्थित Yamraj Mandir में यमराज और यमुना की पूजा से आयु बढ़ती है, भाई दूज पर विशेष महत्व है और श्रद्धालु आत्मिक शांति की कामना करते हैं.

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Yamraj Mandir: विश्व का एक मात्र ऐसा मंदिर जहां बहन के साथ यमराज की होती पूजाविश्व का एक मात्र ऐसा मंदिर जहां बहन के साथ यमराज की होती है पूजा. (AI)

Yamraj Mandir Mathura: आज देशभर में धनतेरस का पर्व मनाया जा रहा है और इस दिन यम दीपक जलाने का विशेष महत्व है. धनतेरस के मौके पर आज हम आपको यमराज के ऐसे मंदिर के बारे में बताने जा रहे हैं, जहां पूजा से आयु बढ़ती है. साथ ही भाई दूज के दिन भाई-बहन एक साथ पूजा करने का भी विशेष महत्व है.

बहन के साथ होती है यमराज की पूजा

हम बात कर रहे हैं, मथुरा की पवित्र धरती पर बसे विश्राम घाट पर स्थित यमराज मंदिर की. इसे यमुना यमराज मंदिर के नाम से भी जाना जाता है, जहां एक साथ यमराज और उनकी बहन यमुना की पूजा होती है. मंदिर में मां यमुना चतुर्भुज रूप में विराजमान हैं और यमराज आशीर्वाद मुद्रा में दिखाई देते हैं. यहां आने वाले श्रद्धालु सिर्फ पूजा ही नहीं करते, बल्कि लंबी आयु और जीवन में सुख-समृद्धि की कामना भी करते हैं. ऐसा माना जाता है कि यमराज की सच्चे मन से पूजा करने पर न केवल मृत्यु का भय दूर होता है बल्कि आयु भी बढ़ती है.

मंदिर से जुड़ी पौराणिक कथा

मंदिर से जुड़ी एक बेहद रोचक पौराणिक कथा भी है. कहते हैं कि भाई दूज के दिन यमराज अपनी बहन यमुना से मिलने मथुरा आए थे. बहन ने उनका बहुत आदर-सत्कार किया और उन्हें 56 भोग का प्रसाद खिलाया. प्रसन्न होकर यमराज ने वरदान दिया कि जो भी भाई दूज के दिन यमुना स्नान कर बहन के घर भोजन करेगा और यमुना-यमराज की पूजा करेगा, उसके जीवन में कभी अकाल मृत्यु नहीं होगी. तब से यह परंपरा आज तक चली आ रही है.

पूजा से व्यक्ति को मिलती है आत्मिक शांति

दूसरी कथा के अनुसार, जब श्रीकृष्ण कंस का वध करने के बाद इस घाट पर विश्राम कर रहे थे, तभी यमराज वहां पहुंचे. लेकिन, ब्रह्माजी के आदेश के अनुसार, यमराज किसी भी जीवित मनुष्य के सामने नहीं आ सकते थे, जब तक उसकी मृत्यु का समय न आ जाए. इससे यमराज दुखी हो गए. श्रीकृष्ण ने उनकी भावनाओं को समझा और प्रसन्न होकर उन्हें वरदान दिया कि इस स्थान पर उनका एक मंदिर बनेगा, जहां लोग आयु वृद्धि के लिए उनकी पूजा करेंगे. उसी समय से विश्राम घाट स्थित यह मंदिर मृत्यु के देवता यमराज के पूजन का अद्भुत स्थल बन गया. यहां हर साल भाई दूज और कार्तिक माह में हजारों श्रद्धालु दर्शन करने आते हैं. कहा जाता है कि इस मंदिर में एक बार पूजा करने से जीवन की नकारात्मकता दूर होती है, और व्यक्ति को आत्मिक शांति प्राप्त होती है.

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Parag Sharma

मैं धार्मिक विषय, ग्रह-नक्षत्र, ज्योतिष उपाय पर 8 साल से भी अधिक समय से काम कर रहा हूं। वेद पुराण, वैदिक ज्योतिष, मेदनी ज्योतिष, राशिफल, टैरो और आर्थिक करियर राशिफल पर गहराई से अध्ययन किया है और अपने ज्ञान से प…और पढ़ें

मैं धार्मिक विषय, ग्रह-नक्षत्र, ज्योतिष उपाय पर 8 साल से भी अधिक समय से काम कर रहा हूं। वेद पुराण, वैदिक ज्योतिष, मेदनी ज्योतिष, राशिफल, टैरो और आर्थिक करियर राशिफल पर गहराई से अध्ययन किया है और अपने ज्ञान से प… और पढ़ें

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Yamraj Mandir: विश्व का एक मात्र ऐसा मंदिर जहां बहन के साथ यमराज की होती पूजा


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