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राखी बांधते समय किस दिशा में हो भाई-बहन का मुख? किस हाथ में बांधें राखी? शुभ फलों के लिए दूर करें कंफ्यूजन


Raksha Bandhan 2024: हिन्दू धर्म में होली-दिवाली की तरह ही रक्षाबंधन का त्योहार भी खास माना जाता है. यह त्योहार भाई-बहनों के पवित्र प्रेम का प्रतीक है. यह पर्व हर वर्ष श्रावण मास के शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा तिथि पर मनाया जाता है. इस बार रक्षाबंधन का त्योहार 19 अगस्त 2024 दिन सोमवार को मनाया जा रहा है. रक्षाबंधन वाले दिन भद्रा लगने की वजह से राखी बांधने का शुभ मुहूर्त 19 अगस्त दोपहर 01:25 मिनट से रात 09:36 मिनट रहेगा. इस बीच बिना किसी दुविधा के भाइयों को राखी बांधी जा सकेंगी. इतना तो ठीक है, लेकिन कुछ और भी सवाल हैं जो लोगों के जहन में होते हैं. जैसे कि, राखी बांधते समय भाई का मुंह किस दिशा में हो? बहन किस दिशा में मुख करके भाई के तिलक करे? अगर बहन का भाई नहीं तो किसे बांधे राखी? इन सवालों के बारे में Bharat.one को बता रहे हैं उन्नाव के ज्योतिषाचार्य पं. ऋषिकांत मिश्र शास्त्री-

राखी बांधने के समय इस दिशा की ओर रखे मुंह

ज्योतिषाचार्य के मुताबिक, भाई को राखी बांधते समय बहन को दिशा का ध्यान रखना बेहद जरूरी है. ऐसा करने से भाई और बहन दोनों को ही शुभ फलों की प्राप्ति होती है. इसलिए ध्यान रखें कि, राखी बांधते समय भाई का मुख पूर्व दिशा की ओर हो और बहन का मुख पश्चिम दिशा की ओर. ये दोनों की दिशा भाई-बहन के लिए सबसे उत्तम मानी जाती हैं.

भाई के इस हाथ में राखी बांधना होगा शुभ

ज्योतिष के अनुसार, भाई को हमेशा दाहिने हाथ में राखी बांधना चाहिए. बता दें कि, दाहिने हाथ को कर्मों से जोड़ा जाता है. इसलिए इस हाथ में राखी बांधना शुभ माना गया है. इसलिए भाई के माथे पर उत्तर दिशा में मुख करके तिलक, चंदन, रोली, अक्षत लगाने के बाद दाएं हाथ में राखी बांध दें.

राखी बांधते समय इस मंत्र का करें जाप

येन बद्धो बलि राजा, दानवेन्द्रो महाबल:। तेन त्वाम् प्रतिबद्धनामि,रक्षे माचल माचल:।। इस मंत्र का अर्थ है कि ‘जो रक्षा धागा परम कृपालु राजा बलि को बांधा गया था, वही पवित्र धागा मैं तुम्हारी कलाई पर बांधती हूं, जो तुम्हें सदा के लिए विपत्तियों से बचाएगा.

भाई नहीं तो इनको बांधें राखी

धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, यदि आपका भाई नहीं है तो आप नीम, बरगद, आंवला, केला, शमी और तुलसी को राखी बांध सकती हैं. आंवला, नीम और बरगद में त्रिदेव यानी ब्रह्मा विष्णु और महेश का वास माना जाता है. आप इन वृक्षों को राखी बांधते हैं तो तीनों देवता बेहद प्रसन्न होते हैं. इसके अलावा, आप चचेरा भाई, ममेरा भाई या कोई धर्म का भाई हो, उसे भी राखी बांधना शुभ रहेगा.

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