अयोध्या: प्रभु राम की नगरी अयोध्या में होने वाले दीपोत्सव में न केवल अवध की संस्कृत दिखेगी. बल्कि देश दुनिया की आध्यात्मिक का भी संगम नजर आएगा. भगवान राम लला भव्य मंदिर में विराजमान हो गए हैं. ऐसे में अयोध्या को विश्व के मानचित्र पर स्थापित करने वाला दीपोत्सव बेहद खास होगा.
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने दीपोत्सव को और भी भव्यता देने के लिए पूरी ताकत लगा दी है. उत्तर प्रदेश सरकार रामलला के भव्य मंदिर में विराजमान होने का उत्सव इस बार की दीपोत्सव में मनाने जा रही है. इस बार के दीपोत्सव में देश ही नहीं विदेश की रामलीला का भी विशेष मंचन किया जाएगा. प्रमुख रूप से वह देश जहां पर भगवान राम को माना जाता है, उनकी पूजा और अर्चना होती है. उन देशों की रामलीला का मंचन अयोध्या दीपोत्सव के दरमियान किया जायेगा.
ऐतिहासिक रामलीला का किया जा रहा प्रयास
अयोध्या दीपोत्सव में संस्कृति विभाग प्रमुख रूप से इंडोनेशिया रूस और टोबैको जैसे देशों से संपर्क कर रहा है और प्रयास है कि इस बार राम कथा पार्क में होने वाली रामलीला ऐतिहासिक हो, जिसमें विदेशी शैली पर अंतरराष्ट्रीय स्तर के कलाकार राम की लीला का मंचन करेंगे. इतना ही नहीं खास बात यह है कि राम की लीला का मंचन सरयू तट पर किया जाएगा. इसके अलावा देश के विभिन्न राज्य और प्रभु राम को मानने वाले विदेशी लोग भी अयोध्या जाकर प्रभु राम की लीला पर मंचन करेंगे.
पर्यटन विभाग ने दी जानकारी
पर्यटन विभाग के उपनिदेशक राजेंद्र प्रसाद यादव ने कहा कि संस्कृति विभाग के सहयोग से दीपोत्सव में भव्य रामलीला का आयोजन कराया जाता है. देश के विभिन्न राज्यों की रामलीला यहां पर होती है. इसके साथ अंतरराष्ट्रीय रामलीला का आयोजन किया जाता है.
विदेशी रामलीला का हो रहा प्रयास
वहीं, पर्यटन विभाग के निदेशक ने बताया कि इंडोनेशिया, टोबैको और रूस जैसे कई देशों से संपर्क किया गया है, जो रामायण से प्रभावित हैं, जो भगवान राम की पूजा अर्चना करते हैं. उन देशों की रामलीला दीपोत्सव में हो. इसका प्रयास संस्कृति विभाग कर रहा है.
FIRST PUBLISHED : October 24, 2024, 12:14 IST