बांदा. नवरात्रि का पर्व चल रहा है. ऐसे में दुर्गा मां के भक्त तमाम मठ-मंदिरों में जाकर उनकी पूजा-अर्चना कर रहे हैं. ऐसे में आज हम आप को एक ऐसे दुर्गा मंदिर के बारे में बताने जा रहे हैं, जहां एक पत्थर की सिला में प्रतिमा प्रकट हुई थी. जिसको लोग महेश्वरी देवी नाम से जानते हैं. नवरात्रि के समय यहां पूजा- अर्चना के लिए भक्तों की अच्छी खासी भीड़ रहती है. इस मंदिर से बांदा सहित आस-पास के लोगों की अपरा श्रद्धा जुड़ी हुई है.
पत्थर की शिला में प्रकट हुई थी प्रतिमा
बता दें कि बुंदेलखंड के बांदा जिला में मां महेश्वरी देवी मंदिर स्थित है. यहा मां दुर्गा एक पत्थर की शिला के रूप में प्रकट हुई थी. मां महेश्वरी के दर्शन के लिए नवरात्रि में समय में सैकड़ों की संख्या में श्रद्धालु रोजना मंदिर में पहुंचते हैं. बताया जाता है कि पुराने समय में एक कुम्हार मिट्टी की खुदाई कर रहा था. तभी खुदाई करते समय देवी की प्रतिमा प्राप्त हुई, जो एक शीला के रूप में थी. इसके बाद से ही भक्त वहां पहुंचकर देवी प्रतिमा की पूजा-अर्चना करने लगे. जैसे-जैसे लोगों की मनोकामनाएं पूर्ण होती गई, वैसे-वैसे भक्तों के द्वारा उनका भव्य मंदिर तैयार करवा दिया गया.
मां महेश्वरी देवी सभी की मनोकामना करती है पूर्ण
मंदिर के पुजारी छोटे लाल ने Bharat.one को बताया कि एक समय यहां घना जंगल हुआ करता था. तभी माता रानी ने यहां के लोगों को सपना दिया. इसके बाद गांव के कुम्हारों ने जमीन को खोदना शरू कर दिया. जमीन खोदने के दौरान एक पत्थर की शिला में महेश्वरी देवी विराजमान मिली. उसी स्थान पर माता का मंदिर बनाकर स्थापित कर दिया गया. इसके बाद लोग यहां
FIRST PUBLISHED : October 10, 2024, 14:53 IST
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