Wednesday, November 5, 2025
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78 साल पुरानी है ये दुकान, यहां के पेड़ा का हर कोई दीवाना, टेस्ट ऐसा कि बोल पड़ेंगे वाह


जैसलमेर: हर शहर अपने खास जायके के लिए जाना जाता है, और यह पहचान उसके विशेष खानपान से भी होती है. जैसे ही हम मथुरा का नाम लेते हैं, हमारे मन में मथुरा के पेड़े की तस्वीर आ जाती है. इसी तरह, जैसलमेर के पोकरण में एक खास दुकान का पेड़ा भी प्रसिद्ध है, जो केवल यहीं मिलता है. “पन्नालाल पेड़े वाला” की दुकान का पेड़ा लगभग 150 ग्राम वजनी होता है, जबकि आमतौर पर पेड़े का वजन 30 से 40 ग्राम के बीच होता है. इस पेड़े की खासियत उसमें डाली गई विशेष केसर है.

इस दुकान की शुरुआत 1946 में पन्नालाल ने की थी. संघर्ष के बाद, इस पेड़े ने उन्हें पहचान दिलाई, जिसके बाद उन्होंने अपनी दुकान का नाम भी “पन्नालाल पेड़े वाला” रखा. आज पन्नालाल की चौथी पीढ़ी इस दुकान को चला रही है, और स्वाद वही पुराना है जो पन्नालाल ने खोजा था.

शुद्ध दूध और देशी घी का इस्तेमाल
दुकान के मालिक 38 वर्षीय गिरिराज बताते हैं, “मेरे दादा ने इस दुकान की शुरुआत की थी. उसके बाद मेरे पिता और फिर मैंने इसे संभाला, और अब मेरा भतीजा भी मेरे साथ है.” वे कहते हैं कि पेड़े के खास स्वाद को बनाए रखने के लिए वे कई बातों का ध्यान रखते हैं, जैसे पारंपरिक भट्ठियों का उपयोग, गाय के दूध और देशी घी का इस्तेमाल.

गिरिराज के अनुसार, “हम शक्कर की मात्रा पर विशेष ध्यान देते हैं, ताकि पेड़ा अत्यधिक मीठा न हो. हम विशेष तरह की केसर का उपयोग करते हैं, जो इसके स्वाद को और भी मजेदार बनाती है.” इस दुकान पर केसर पेड़ा 500 रुपए प्रति किलोग्राम बेचा जा रहा है, जबकि शहर में अन्य मिठाइयों के दाम लगभग 400 रुपए प्रति किलोग्राम हैं. इसके बावजूद, “पन्नालाल पेड़े वाला” की दुकान पर पेड़े खाने वालों और ले जाने वालों की भीड़ लगी रहती है.

पन्नालाल पेड़े वाला के नाम से मशहूर है दुकान
पन्नालाल के पोते, 24 वर्षीय माधव पुरोहित बताते हैं, “हम हर रोज करीब 4 से 5 किलोग्राम पेड़े दूसरे शहरों के लिए पैक करते हैं.” पेड़े के खराब होने के बारे में पूछने पर वे कहते हैं, “इस पेड़े में पानी की बूंद भी नहीं डाली जाती, इसलिए यह 5 दिन तक डिब्बे में बंद रहकर भी खराब नहीं होता.” आज से करीब 77 साल पहले, एक व्यक्ति ने मिठाई को अपने तरीके से बनाया, और उसकी आने वाली पीढ़ियों ने उस स्वाद को बनाए रखने में अपना समय लगाया. आज भी, उस व्यक्ति की बनाई मिठाई “पन्नालाल पेड़े वाला” के नाम से शहर से कई किलोमीटर दूर पहचान बना रही है.


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https://hindi.news18.com/news/lifestyle/recipe-this-shop-is-78-years-old-everyone-is-crazy-about-the-peda-here-the-taste-is-such-that-you-will-say-wow-local18-8758366.html

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