Friday, November 21, 2025
31 C
Surat

स्वाद और सेहत का खजाना है बाजरे का मोरण, राजस्थान की संस्कृति और परंपरा का है हिस्सा, जानें सेवन के फायदे  – Rajasthan News


Last Updated:

Bajra Moran Traditional Dish: बाजरे का मोरण राजस्थान का पारंपरिक व्यंजन है, जो स्वाद और सेहत दोनों का अनोखा मेल है. इसे बाजरे के सिट्टे को आग में भूनकर तैयार किया जाता है और बाद में दाने निकालकर नमक, घी या गुड़ के साथ खाया जाता है. ग्रामीण क्षेत्रों में यह खासकर सर्दियों में ऊर्जा और गर्माहट देने वाला भोजन माना जाता है. किसान खेत से लौटकर थकान मिटाने के लिए इसे खाते हैं. नई फसल के बाजरे से बनी मोरण का स्वाद सबसे खास होता है.

बाजरे का मोरण

बाजरे का मोरण राजस्थान का पारंपरिक व्यंजन है, जिसे खासकर गांवों में लोग बड़े चाव से खाते हैं. यह मोटे अनाज बाजरे से बनती है, जो पोषण और स्वाद दोनों का बेहतरीन मेल है. राजस्थान के ग्रामीण क्षेत्रों में यह साधारण भोजन नहीं बल्कि ऊर्जा और सेहत का खजाना माना जाता है. बाजरे का मोरण मुख्य रूप से सर्दियों में अधिक पसंद की जाती है.

बाजरे का मोरण

बुजुर्ग रामलाल शर्मा ने बताया कि बाजरे का मोरण बनाना बहुत आसान है. मोरण बनाने के लिए सबसे पहले खेत से बाजरे के सिट्टे को तोड़ लिया जाता है. इसके बाद बिना इससे बाजारे को निकाले चूल्हे या गर्म कोयले को आग में सिट्टे का डाल दिया जाता है. इसके बाद जब से सीक जाए तो बाजरे के सिट्टे से इसके दाने निकाल लिए जाते हैं. इसके बाद इसे सही से साफ कर लिए जाते हैं. इस प्रक्रिया में इसका स्वाद बढ़ जाता है. इसके बाद इसे नमक, घी या गुड़ मिलाकर भी खाया जाता है.

बाजरे का मोरण

आपको बता दें कि राजस्थान की पहचान बाजरे की खेती से जुड़ी हुई है. यहां के शुष्क और रेतीले इलाकों में बाजरा प्रमुख फसल है. इसी कारण ग्रामीण खानपान में बाजरे की मोरण का खास स्थान है. यह केवल भोजन ही नहीं बल्कि राजस्थान की संस्कृति और परंपरा का हिस्सा भी माना जाती है.

बाजरे का मोरण

गांवों में बाजरे की मोरण अक्सर सुबह के नाश्ते या रात के खाने में बनाया जाती है. किसान जब खेत से लौटते हैं, तो थकान मिटाने और ऊर्जा पाने के लिए मोरण खाते हैं. सर्दियों की रातों में यह शरीर को गर्म रखती है, इसलिए इसे ठंडी ऋतु का खास व्यंजन माना जाता है.

बाजरे का मोरण

गांव में मोरण सुबह तब मिलती है जब नया बाजरा घर में आता है. नई फसल के बाजरे से बनी मोरण का स्वाद अलग ही होता है. इसे परिवार और रिश्तेदारों के बीच मिल-बांटकर खाया जाता है. मोरण को सेहतमंद बनाने के लिए इसमें दूध, घी या गुड़ मिलाया जाता है. यह शरीर को तुरंत ऊर्जा देता है और लंबे समय तक पेट भरा रखता है. बच्चे, बुजुर्ग और किसान सबके लिए यह एक अच्छा भोजन है.

बाजरे का मोरण

राजस्थान के कई गांवों में मेहमान नवाजी के लिए मोरण परोसी जाती है. यह परंपरा वहां की सादगी और आत्मीयता का प्रतीक है. धीरे-धीरे यह व्यंजन शहरों तक भी पहुंच रहा है. लेकिन इसका असली स्वाद और गर्माहट गांव की चूल्हे की आग और मिट्टी की खुशबू के साथ ही महसूस होती है.

न्यूज़18 को गूगल पर अपने पसंदीदा समाचार स्रोत के रूप में जोड़ने के लिए यहां क्लिक करें।
homelifestyle

स्वाद और सेहत का खजाना है बाजरे का मोरण, जानें सर्दियों में सेवन के फायदे


.
.
.
.
.
.
.
.
.
.
.
.
.
.
.

https://hindi.news18.com/photogallery/lifestyle/health-bajra-moran-traditional-dish-rajasthan-health-benefits-winter-food-local18-9667417.html

Hot this week

Solar Eclipse 2026 Date। 2026 का सूर्य ग्रहण और सूतक 2026

Surya Grahan 2026: नया साल शुरू होते ही...

Topics

Solar Eclipse 2026 Date। 2026 का सूर्य ग्रहण और सूतक 2026

Surya Grahan 2026: नया साल शुरू होते ही...
spot_img

Related Articles

Popular Categories

spot_imgspot_img