Which Is Safest Seat In Bus Train And Flight: जब आप अपने सफर के लिए टिकिट बुक करते हैं, तो सबसे पहले कंफर्ट के बारे में सोचते हैं. इतना ही नहीं, जब आप किसी यात्रा के लिए ट्रेन, बस या फ्लाइट की टिकिट बुक करते हैं तो कोशिश करते हैं कि विंडो सीट या साइड बर्थ ही मिले. लेकिन क्या आपने सोचा है कि जब भी आप ट्रैवल करते हैं तो क्या इन वाहनों में कोई सबसे सुरक्षित सीट होती है? अगर हां तो वह सीट कौनसी है? यात्रा में जितना आराम जरूरी है, उतनी ही सुरक्षा भी अहम है. बारिश के इस मौसम में आपने ट्रेन और कार के एक्सीडेंट की कई खबरें सुनी होंगी. लेकिन अगर आप किसी वाहन की सबसे सुरक्षित सीट पर बैठते हैं, तो आप दुर्घटना के समय होने वाली क्षति से खुद को काफी हद तक बचा सकते हैं. आइए बताते हैं आपको कि कार, बस, ट्रेन और फ्लाइट में सबसे सुरक्षित सीट कौनसी होती है और उसका चुनाव कैसे करनी चाहिए.
कार, बस या फिर फ्लाइट, अक्सर हम जब भी कोई यात्रा करते हैं तो हमेशा विंडो सीट ही चुनते हैं. पर ऐसा नहीं करना चाहिए. इसमें सबसे ज्यादा चोट लगने का खतरा होता है. विंडो सीट पर एक्सीडेंट होने पर खिड़की का कांच टूटकर लगने से सबसे ज्यादा चोट लगती है.
कार
कई बार हम कार में पूरे परिवार के साथ यात्रा करते हैं. कार की खिड़की पर बैठने के लिए आपने लोगों को लड़ते हुए देखा होगा. लेकिन क्या आप जानते हैं कि ये सुरक्षित सीटों में नहीं है. बल्कि एक्सीडेंट के समय ये सीट काफी खतरनाक होती है. कार में सबसे सुरक्षित स्थान अक्सर पीछे की सीटें होती हैं. अगर आप कार में ड्राइवर के साथ बैठ रहे हैं, तो हमेशा ड्राइवर के पीछे की सीट सुरक्षित होती है, क्योंकि यहां एक्सीडेंट होने पर सबसे कम प्रभाव आता है. अगर आप साइड से बैठते हैं, तो ड्राइवर के पास के साइड पर बैठना अधिक सुरक्षित हो सकता है, क्योंकि इससे आप ट्रैफिक और आगे होने वाली स्थितियों को अच्छी तरह से देख सकते हैं.
कार में पीछे की सीट को सुरक्षित माना जाता है.
बस
बस में सुरक्षित सीट की बात करें तो इसमें भी विंडो सीट पर बैठने से बचना चाहिए. क्योंकि दुर्घटना के समय यहीं बैठे लोग सबसे ज्यादा चोटिल होते हैं. जहा डबल डैकर बसें चलती हैं, वहां बस के ऊपरी फ्लोर पर बैठना सबसे सुरक्षित माना जाता है. बस में आगे की दो लाइनों में बैठना भी जोखिम भरा होता है.
बस में बीच की सीटें ज्यादा सुरक्षित होती हैं.
ट्रेन
ट्रेन में सुरक्षित सीट की बात करें तो, ट्रेन जिस दिशा में चल रही हो, उसी दिशा की सीटें सुरक्षित मानी जाती हैं. ट्रेन एक किफायती ट्रैवल मोड है और भारत के लाखों लोग इसका इस्तेमाल करते हैं. 1970 में संघीय रेलवे सुरक्षा अधिनियम के अनुसार दुर्घटना के दौरान ट्रेन का मध्य भाग सबसे सुरक्षित होता है. इससे आगे या पीछे से टक्कर होने पर बड़े नुकसान से बच सकते हैं.
फ्लाइट में अक्सर लोग विंंडो सीट ही पसंद करते हैं. पर ये सेफेस्ट सीट नहीं है.
फ्लाइट
फ्लाइट में हर किसी की कोशिश होती है कि उसे विंडो सीट मिले. यानी वो खिड़की से बादल और खुबसूरत नजारे देख सके. दरअसल सुरक्षित सीटें अक्सर विमान के सामान्य सेक्शन के पीछे की सीटें मानी जाती हैं. ये जगह अक्सर अनियंत्रित रफ्तार और अनियंत्रित वातावरण से बचाव करती है. इस मामले में संघीय विमानन प्रशासन (FAA) की मानें तो दुर्घटना के मामले में विमान के पिछले हिस्से की सीटें ज्यादा सुरक्षित होती है. ऐसे में विमान की पूंछ की ओर बैठे यात्री खतरे से बच जाते हैं, जबकि विमान हादसों में सबसे ज्यादा मृत्यु दर आगे की तरफ बैठने वाले यात्रियों की रही.
FIRST PUBLISHED : July 1, 2024, 17:20 IST
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