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कैलाश पर्वत से भोलेनाथ के उठा लाए थे परशुराम…आगरा में यहां बनाया मंदिर, दो शिवलिंगों वाला पहला ज्योतिर्लिंग


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Kailash temple Agra : सावन के तीसरे सोमवार और महाशिवरात्रि पर यहां कुछ खास होता है. मंदिर के पास यमुना बहती है. यहां आने वाले भक्तों की बाबा भोलेनाथ हर मनोकामना पूरी करते हैं. इस मंदिर से एक जादुई किस्सा जुड़ा है.

आगरा. इस प्राचीन मंदिर की बात ही निराली है. आगरा के चारों कोनों में शिव मंदिर हैं. उन्हीं में एक कैलाश महादेव मंदिर है. कैलाश मंदिर अपने पौराणिक इतिहास के लिए विशेष महत्त्व रखता है. इस मंदिर का इतिहास भगवान परशुराम और उनके पिता ऋषि जमदग्नि से जुड़ा है. बताया जाता है कि परशुराम और ऋषि जमदग्नि कैलाश पर्वत से दो शिवलिंग लाकर यहां शाम को पूजा अर्चना की. पूजा के बाद परशुराम ने शिवलिंग उठाने का प्रयास किया, अचानक वहां आकाशवाणी हो गई. आकाशवाणी में भगवान शिव ने उसी स्थान पर शिवलिंग स्थापित रहने देने को कहा.

कैलाश पर्वत से लाए यहां

आज ये जगह कैलाश महादेव मंदिर के नाम से जानी जाती है. कैलाश मंदिर भक्तों के लिए एक महत्त्वपूर्ण धार्मिक स्थल है, जहां सावन के तीसरे सोमवार और महाशिवरात्रि पर विशेष आयोजन होता है. कैलाश मंदिर के समीप यमुना नदी बहती है. यह मंदिर सिकंदरा के कैलाश क्षेत्र में बना हुआ है. यहां आने वाले भक्तों की बाबा भोलेनाथ हर मनोकामना पूरी करते हैं. कैलाश मंदिर के महंत राजकुमार गिरी बताते हैं कि भगवान परशुराम और उनके पिता ऋषि जमदग्नि भोलेनाथ की पूजा करने के लिए कैलाश पर्वत जाया करते थे. एक दिन दोनों ऋषियों की पूजा से प्रशन्न होकर भगवान शिव ने उन्हें दर्शन दिए और उनसे उनकी इच्छा पूछी.

तब यहां जंगल था

महर्षि परशुराम और उनके पिता ऋषि जमदग्नि ने भगवान शिव से कहा कि हम चाहते हैं आप हमारे साथ चलें. भगवान शिव ने उनसे कहा कि आप यहां (कैलाश पर्वत) से दो पत्थर ले जाकर जहां भी स्थापित करेंगे, वही मेरा रूप होगा, वहीं दर्शन दूंगा. परशुराम और उनके पिता को वापस आने में शाम हो गई. शाम को पूजा करने के लिए वे इसी स्थान पर रुके. उस समय ये स्थान जंगल था. शाम को पूजा के लिए उन्होंने दोनों पत्थर यहीं रख दिए. वंदना शुरू कर दी. पूजा के बाद पत्थर उठाने का प्रयास किया तो वह उठे नहीं. तभी आकाशवाणी हुई कि मेरा नाम अटलेश्वर भी है.

ऐसा एकमात्र मंदिर
कैलाश मंदिर के महंत राजकुमार गिरी दावा करते हैं कि हिंदुस्तान में 12 ज्योतिलिंग हैं. सभी ज्योतिलिंग में भगवान शिव खुद उत्पन्न हुए हैं. सभी ज्योतिर्लिंग सिंगल ही हैं, लेकिन कैलाश मंदिर में दो शिवलिंग हैं. यह दोनों शिवलिंग महर्षि परशुराम और उनके पिता ने स्थापित किए हैं.

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Priyanshu Gupta

Priyanshu has more than 10 years of experience in journalism. Before News 18 (Network 18 Group), he had worked with Rajsthan Patrika and Amar Ujala. He has Studied Journalism from Indian Institute of Mass Commu…और पढ़ें

Priyanshu has more than 10 years of experience in journalism. Before News 18 (Network 18 Group), he had worked with Rajsthan Patrika and Amar Ujala. He has Studied Journalism from Indian Institute of Mass Commu… और पढ़ें

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कैलाश पर्वत से भोलेनाथ के उठा लाए थे परशुराम…आगरा में यहां बनाया मंदिर

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