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Chhath Puja 2024 Keep five ingredients in mind while offering water to lord Sun chant this mantra fulfill your wishes

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मधुबनी. लोक आस्था का महापर्व छठ के दिन सूर्य नमस्कार और अर्घ्य के लिए बहुत सारी विशेष नियम है जिसमें सबसे पहले नारियल, पान, दूध ,गंगाजल, पीठार, सिंदूर से अर्घ्य दिया जाता है. छठ पूजा में सूर्य देव को अर्घ्य अर्पित करना एक अत्यंत महत्वपूर्ण अनुष्ठान है. इस दिन श्रद्धालु उगते और डूबते सूर्य को अर्घ्य देकर उनकी कृपा प्राप्त करने की कामना करते हैं. इस विशेष दिन पर अर्घ्य देने के लिए कुछ विशेष नियम और सामग्री का ध्यान रखना होता है, जिससे पूजा विधि पूरी तरह से फलदायी हो सके.

छठ पर्व में पांच सामाग्रियों का है प्रमुख उपयोग

पंडित रंजीत मिश्रा के अनुसार, सूर्य देव की पूजा के दौरान पांच प्रमुख सामाग्रियों का विशेष रूप से ध्यान रखा जाता है. इनमें नारियल, पान, दूध, गंगाजल और पीठार शामिल है. इन चीजों का प्रयोग अर्घ्य अर्पित करते समय करना चाहिए, जिससे सूर्य देव प्रसन्न होते हैं. छठ पूजा के दौरान डूबते सूर्य (संध्या) और उगते सूर्य (सुबह) दोनों समय अर्घ्य अर्पित किया जाता है. अर्घ्य देने से पहले व्रति स्नान करके साफ-सुथरे वस्त्र पहनते हैं और एक विशेष स्थान पर भगवान सूर्य की पूजा करते हैं.

छठ पर्व के दौरान इस मंत्र का भी करें जाप

पंडित रंजीत मिश्रा बताते हैं कि छठ पूजा में अर्घ्य देने के समय एक विशेष मंत्र का जाप भी किया जाता है.  “ॐ ऐही सूर्यदेव सहस्त्रांशो तेजो राशि जगत्पते अनुकम्पय मां भक्त्या गृहणार्ध्य दिवाकरः” इस मंत्र से सूर्य देवता को अर्घ्य अर्पित करते हैं, जिससे उनके आशीर्वाद से व्रति की सभी मनोकामनाएं पूरी होती है. अर्घ्य अर्पित करने से पूर्व व्रती जल में खड़े होते हैं और उनके हाथों में नारियल, पान सुपारी और घी का दीपक रखा जाता है. ये सभी सामाग्री पूजा में विशेष रूप से महत्वपूर्ण मानी जाती है. छठ पूजा का यह अद्भुत पर्व ना केवल आस्था का प्रतीक है, बल्कि यह भी बताता है कि सूर्य देव के प्रति श्रद्धा और विश्वास से जीवन में खुशियां और समृद्धि आती है.

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