खरमास माह का प्रारंभ 15 दिसंबर से हो रहा है. इस दिन रात 10 बजकर 19 मिनट पर सूर्य देव धनु राशि में गोचर करेंगे, उस समय से ही खरमास लग जाएगा. खरमास का समापन 14 जनवरी मंगलवार को मकर संक्रांति के दिन होगा. खरमास के महीने में पूरे 30 दिनों तक सभी शुभ कार्यों पर पाबंदी रहेगी. खरमास में विवाह, सगाई, बिदाई, गृह प्रवेश आदि जैसे मांगलिक कार्य नहीं होंगे, लेकिन खरमास में व्रत और पर्व मनाए जाएंगे. खरमास में पौष माह होगा, वहीं सौर कैलेंडर का धनु माह होगा. केंद्रीय संस्कृत विश्वविद्यालय पुरी के ज्योतिषाचार्य डॉ. गणेश मिश्र से जानते हैं खरमास में आने वाले व्रत और पर्व की पूरी लिस्ट.
खरमास में पौष माह कब से कब तक है?
हिंदू कैलेंडर के अनुसार, पौष माह का प्रारंभ 16 दिसंबर से हो रहा है. पौष कृष्ण प्रतिपदा तिथि का शुभारंभ 15 दिसंबर को दोपहर 02:31 बजे से होगा और इसका समापन 16 दिसंबर को दोपहर 12:27 बजे होगा. उदयातिथि के आधार पर पौष की शुरुआत 16 दिसंबर सोमवार से है. पौष माह का समापन पूर्णिमा के दिन होगा. पौष पूर्णिमा 13 जनवरी 2025 को है.
खरमास में रखे जाने वाले व्रत 2024
अखुरथ संकष्टी चतुर्थी: 18 दिसंबर, बुधवार
कालाष्टमी व्रत: 22 दिसंबर, रविवार
क्रिसमस: 25 दिसंबर, बुधवार
सफला एकादशी: 26 दिसंबर, गुरुवार
शनि प्रदोष व्रत: 28 दिसंबर, शनिवार
पौष मासिक शिवरात्रि: 29 दिसंबर, रविवार
सोमवती अमावस्या या पौष अमावस्या: 30 दिसंबर, सोमवार
नववर्ष का शुभारंभ: 1 जनवरी 2025, बुधवार
विनायक चतुर्थी: 3 जनवरी 2025, शुक्रवार
गुरु गोबिंद सिंह जयंती: 6 जनवरी 2025, सोमवार
स्वामी विवेकानंद जयंती: 12 जनवरी 2025, रविवार
पौष पुत्रदा एकादशी: 10 जनवरी 2025, शुक्रवार
शनि प्रदोष व्रत: 11 जनवरी 2025, शनिवार
पौष पूर्णिमा व्रत, स्नान और दान: 13 जनवरी 2025, सोमवार
लोहड़ी पर्व: 13 जनवरी 2025
महाकुंभ का शुभारंभ: 13 जनवरी 2025
महाकुंभ का पहला शाही स्नान: 13 जनवरी 2025
FIRST PUBLISHED : December 14, 2024, 11:36 IST
