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Diwali 2025: जानिए रात में ही क्यों की जाती है दिवाली की पूजा! माता लक्ष्मी से जुड़ा है खास कनेक्शन

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Diwali Lakshmi Puja Raat Me Kyon Hoti Hai: दीपावली अंधकार पर प्रकाश की जीत का प्रतीक है. इस दिन रात्रि में माता लक्ष्मी की पूजा करने की परंपरा है. धार्मिक, पौराणिक और ज्योतिषीय मान्यताओं के अनुसार, यह समय विशेष रूप से शुभ होता है. इस खबर में जानिए दीपावली पर रात्रि में पूजा का महत्व, शुभ समय और इसके पीछे की पौराणिक कहानियां.

ऋषिकेश: दीपावली, जिसे ‘अमावस्या का त्योहार’ भी कहा जाता है, भारतीय संस्कृति और परंपरा का एक प्रमुख पर्व है. यह त्योहार मुख्य रूप से धन और समृद्धि की देवी माता लक्ष्मी के पूजन के लिए मनाया जाता है. दीपावली पर घर, मंदिर और बाजार रोशनी से जगमगाते हैं. इसे अंधकार पर प्रकाश की जीत का प्रतीक माना जाता है. इस दिन विशेष रूप से रात्रि में पूजा करने की परंपरा रही है, जिसे धार्मिक, पौराणिक और ज्योतिषीय मान्यताओं से जोड़ा गया है. सामान्य दिनों में माता लक्ष्मी की पूजा दिन में किसी भी समय की जा सकती है, लेकिन दीपावली पर रात्रि में पूजा करना विशेष रूप से शुभ माना जाता है.

रात्रि में लक्ष्मी पूजन का धार्मिक महत्व
Bharat.one से बातचीत के दौरान पुजारी शुभम तिवारी ने बताया कि धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, लक्ष्मी पूजन का शुभ समय प्रदोष काल होता है, जो सूर्यास्त के तुरंत बाद शुरू होता है. हिंदू शास्त्रों में यह बताया गया है कि रात्रि का समय माता लक्ष्मी को अत्यंत प्रिय है. दीपावली अमावस्या के दिन आती है, जब चंद्रमा दिखाई नहीं देता और रात का अंधकार गहरा होता है. इस समय दीप जलाने और पूजा करने का महत्व और भी बढ़ जाता है. अंधकार में दीप जलाने का संदेश है कि हम अपने जीवन में अज्ञानता और कठिनाइयों को दूर करके ज्ञान और समृद्धि की ओर बढ़ रहे हैं.
पौराणिक कथाओं में लक्ष्मी पूजा का महत्व
पौराणिक कथाओं में रात्रि में लक्ष्मी पूजन का विशेष महत्व बताया गया है. कहा जाता है कि भगवान राम जब अयोध्या लौटे थे, तब उनके स्वागत के लिए नगरवासियों ने दीपों की कतार सजाई थी. इसी कारण दीपावली पर रात में दीप जलाना और पूजा करना परंपरा बन गई. माता लक्ष्मी को धन और समृद्धि की देवी माना जाता है, और रात्रि के समय उनके पूजन से घर में धन, सुख और शांति की प्राप्ति होती है. ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, अमावस्या की रात को विशेष रूप से सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है, जो लक्ष्मी जी को प्रसन्न करता है.
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रात्रि में पूजा करने के और कारण
रात्रि में पूजा करने का एक और कारण यह है कि इस समय घर का वातावरण शांत और स्थिर होता है. दिन के समय घर की हलचल और व्यस्तता के कारण ध्यान केंद्रित करना कठिन होता है, लेकिन रात में सभी कार्य समाप्त होने के बाद पूजा करना मानसिक शांति और ऊर्जा केंद्रित करने में मदद करता है. दीपावली की रात को घरों में दीप जलाकर, रंगोली बनाकर और विशेष पूजा सामग्री का उपयोग करके मां लक्ष्मी का स्वागत किया जाता है. इस समय घर और वातावरण शुद्ध माना जाता है, और इसका सकारात्मक प्रभाव घर के सभी सदस्यों पर पड़ता है.

Seema Nath

सीमा नाथ पांच साल से मीडिया के क्षेत्र में काम कर रही हैं. मैने साह टाइम्स, उत्तरांचल दीप, न्यूज अपडेट भारत के साथ ही Bharat.one ( नेटवर्क 18) में काम किया है. वर्तमान में मैं News 18 (नेटवर्क 18) के साथ जुड़ी हूं…और पढ़ें

सीमा नाथ पांच साल से मीडिया के क्षेत्र में काम कर रही हैं. मैने साह टाइम्स, उत्तरांचल दीप, न्यूज अपडेट भारत के साथ ही Bharat.one ( नेटवर्क 18) में काम किया है. वर्तमान में मैं News 18 (नेटवर्क 18) के साथ जुड़ी हूं… और पढ़ें

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