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Bilaspur News: जिमी कांदा आयरन, फाइबर, कैल्शियम और विटामिन से भरपूर होता है. यह पाचन को दुरुस्त रखता है और शरीर को गर्मी प्रदान करता है. गांवों में इसे आमतौर पर मसालेदार ग्रेवी या फिर सूखी भुजिया के रूप में तैयार किया जाता है. ठंड के मौसम में जिमी कांदा की सब्जी खाने से शरीर में ताकत बनी रहती है और इम्युनिटी भी बढ़ती है.
बिलासपुर. छत्तीसगढ़ की पारंपरिक रसोई में जिमी कांदा का विशेष स्थान है. यह सब्जी न सिर्फ स्वाद में लाजवाब होती है बल्कि ठंड के मौसम में शरीर को भीतर से गर्म रखने में भी मदद करती है. ग्रामीण इलाकों में इसे सर्दियों में विशेष रूप से बनाया जाता है क्योंकि यह प्राकृतिक रूप से गर्म तासीर वाली सब्जी है, जो सर्दी-जुकाम से बचाव में भी सहायक होती है. जिमी कांदा को कई जगहों पर सुरन या ओल के नाम से भी जाना जाता है.
पारंपरिक स्वाद और सेहत का संगम
जिमी कांदा फाइबर, आयरन, कैल्शियम और विटामिन से भरपूर होता है. यह पाचन को दुरुस्त रखता है और शरीर में गर्मी बनाए रखता है. गांवों में इसे आमतौर पर मसालेदार ग्रेवी या सूखी भुजिया के रूप में बनाया जाता है. सर्दियों में जिमी कांदा की सब्जी खाने से शरीर में ताकत बनी रहती है और रोग प्रतिरोधक क्षमता भी बढ़ती है.
जिमी कांदा की पारंपरिक रेसिपी
इस स्वादिष्ट सब्जी को बनाने के लिए जिमी कांदा को सबसे पहले हल्दी पानी में उबालकर उसकी खुजली खत्म की जाती है. फिर प्याज, टमाटर, अदरक-लहसुन और मसालों के साथ धीमी आंच पर पकाया जाता है. जब मसाले में तेल अलग हो जाए, तब उबला कांदा डालकर उसे अच्छी तरह भून लिया जाता है. ऊपर से हरा धनिया डालने पर इसका स्वाद और बढ़ जाता है.
जिमी कांदा की सब्जी गरम चावल या रोटी के साथ बेहद स्वादिष्ट लगती है. इसे दही या रायते के साथ खाने पर यह पूरी तरह संतुलित भोजन बन जाता है. छत्तीसगढ़ के कई हिस्सों में लोग इसे सर्दी की शुरुआत के साथ नियमित रूप से अपने भोजन में शामिल करते हैं. ठंड के दिनों में जब शरीर को गर्माहट की जरूरत होती है, तब जिमी कांदा की सब्जी सबसे उपयुक्त विकल्प बन जाती है. पारंपरिक स्वाद, सेहत और सर्दियों की गर्माहट, यह छत्तीसगढ़ी व्यंजन तीनों का संगम है.
राहुल सिंह पिछले 10 साल से खबरों की दुनिया में सक्रिय हैं. टीवी से लेकर डिजिटल मीडिया तक के सफर में कई संस्थानों के साथ काम किया है. पिछले चार साल से नेटवर्क 18 समूह में जुड़े हुए हैं.
राहुल सिंह पिछले 10 साल से खबरों की दुनिया में सक्रिय हैं. टीवी से लेकर डिजिटल मीडिया तक के सफर में कई संस्थानों के साथ काम किया है. पिछले चार साल से नेटवर्क 18 समूह में जुड़े हुए हैं.
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https://hindi.news18.com/news/lifestyle/recipe-chhattisgarhi-traditional-dish-jimmi-kanda-sabji-recipe-local18-9816528.html
