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Dehradun Famous Chaat Shop: नहीं खाते हैं प्याज-लहसुन पर चाट खाने का मन है तो यहां आइए, नवरात्र नहीं पूरे साल रहती है भारी डिमांड!

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Dehradun: चाट की बात हो और बिना प्याज लहसुन के इसे तैयार करना हो तो काम जरा मुश्किल लगता है. हालांकि देहरादून की इस दुकान में साल 1962 से बिना प्याज लहसुन के चाट परोसी जा रही है. मजे की बात है कि स्वाद में कोई …और पढ़ें

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देहरादून की जैन चाट भंडार पर 100% शुद्ध शाकाहारी चाट का स्वाद लीजिए

हाइलाइट्स

  • देहरादून में जैन चाट भंडार पर बिना प्याज-लहसुन की चाट मिलती है.
  • दुकान 1962 से शुद्ध शाकाहारी चाट परोस रही है.
  • चाट की कीमत 60 रुपये प्रति प्लेट और दम आलू 50 रुपये प्रति प्लेट है.

देहरादून. कई लोग कुछ मौकों पर लहसुन-प्याज का सेवन नहीं करते हैं, तो कई लोग ऐसे होते हैं, जिन्होंने कभी लहसुन-प्याज का सेवन नहीं किया है. जैन समुदाय से ताल्लुक रखने वाले लोग भी लहसुन-प्याज नहीं खाते हैं. ऐसे लोगों के लिए देहरादून के हनुमान चौक के नजदीक बने जैन चाट भंडार पर चंद्र प्रकाश कई दशकों से शुद्ध शाकाहारी चाट, गोलगप्पे और दम आलू परोस रहे हैं. वे अपने मसाले, गोलगप्पे, पापड़ी आदि खुद ही तैयार करते हैं. यहां आपको 60 रुपये प्रति प्लेट के हिसाब से चाट खाने के लिए मिल जाएगी.

इस कारण लिया फैसला
चंद्र प्रकाश ने Bharat.one को जानकारी देते हुए कहा है कि वह जैन धर्म से हैं और उनके धर्म में लहसुन-प्याज, मांस-मछली खाने पर प्रतिबंध होता है. इसलिए उन्होंने बिना लहसुन-प्याज के व्यंजन बनाने का निर्णय लिया और वह सिर्फ नवरात्रि और सावन में ही नहीं, बल्कि सालभर ही यहां बिना लहसुन-प्याज के व्यंजनों का स्वाद लोगों तक पहुंचाते हैं. उन्होंने कहा, सिर्फ जैन धर्म ही नहीं, बल्कि हिंदू धार्मिक मान्यताओं के अनुसार भी सावन, नवरात्रि समेत अन्य धार्मिक अनुष्ठानों में लोग बिना लहसुन-प्याज के बने सात्विक भोजन को करना पसंद करते हैं.

उनके पास किसी भी खाने में लहसुन और प्याज का उपयोग नहीं होने के बावजूद व्यंजनों के स्वाद में कोई कमी नहीं रहती है. यहां पहुंचने वाले ग्राहक यहां मिलने वाले गोलगप्पे, चाट और दम आलू में लहसुन-प्याज के बिना भी ज्यादा स्वादिष्ट होने की बात करते हैं.

1962 में शुरू हुई थी दुकान
चंद्र प्रकाश ने बताया कि सन 1962 में उनके पिता ने इस दुकान की शुरुआत की थी और वह 15 साल की उम्र में अपने पिता के साथ काम में लग गए थे. वे आगे कहते हैं उन्होंने पिता से स्वाद के नुस्खे सीखे और वे भी यही स्वाद परोसने लगे. वे सिर्फ नमक बाहर से लेते हैं, जबकि चाट का सारा सामान खुद ही तैयार करते हैं, यहां तक की मसाले भी. वहीं, दूसरी ओर गोलगप्पे, पापड़ी आदि भी खुद बनाते हैं.

गोल गप्पे के फैन हैं लोग
उनके परिवार के सदस्य भी त्योहारों के महीनेभर पहले से इन्हें तैयार करने में उनकी मदद करते हैं. उन्होंने बताया कि जैन लोग उनके पास आते हैं और इन व्यंजनों को खाकर जाते हैं. गोलगप्पे के पानी की बात करें, तो हींग और गरम मसाले से तैयार पानी को गोलगप्पे में खाया जाता है, जो लोगों को बहुत पसंद आता है.  कई लोग दम आलू भी बहुत शौक से खाते हैं.

अगर आप भी अपने भोजन में लहसुन-प्याज का परहेज कर रहे हैं और बिना लहसुन-प्याज के दम आलू, चाट आदि खाना चाहते हैं, तो आप सहारनपुर चौक से होते हुए झंडा बाजार और फिर हनुमान चौक आ सकते हैं. यहां सब्जी मंडी के पास ही आपको जैन चाट भंडार नजर आ जाएगा, जहां आपको 60 रुपये प्रति प्लेट चाट और 50 रुपये प्रति प्लेट में दम आलू मिल जाएंगे.

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नहीं खाते हैं प्याज-लहसुन पर चाट खाने का मन है तो यहां आइए, शुद्धता की गारंटी!


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https://hindi.news18.com/news/lifestyle/recipe-eat-chaat-without-pyaaj-lehsun-in-jain-chat-bhandar-shop-from-1962-pure-vegetarian-place-local18-9094868.html

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