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Oral Cancer Symptoms: निमाड़वासियों के लिए साइलेंट किलर बना ओरल कैंसर, एक्सपर्ट से जानें लक्ष्ण और बचाव के उपाय

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आजकल ओरल कैंसर एक गंभीर स्वास्थ्य समस्या बनकर उभर रहा है. पहले इसे केवल बुजुर्गों से जोड़ा जाता था, लेकिन अब यह बीमारी युवाओं में भी तेजी से फैल रही है. खासतौर पर निमाड़ क्षेत्र में इस बीमारी की संख्या बढ़ती जा रही है. विशेषज्ञ डॉक्टर अनमोल पाटिल कहते हैं कि लगभग 70 प्रतिशत मरीजों को तब इलाज मिल पाता है, जब कैंसर अपने उन्नत स्टेज पर पहुंच चुका होता है. इस वजह से इलाज भी कठिन हो जाता है और मरीज की हालत गंभीर हो जाती है. लेकिन अगर समय रहते इसकी पहचान हो जाए, तो जीवन बचाया जा सकता है.

ओरल कैंसर क्या है?
एक्सपर्ट डॉक्टर अनमोल पाटिल ने Bharat.one से बात करते हुए कहा कि ओरल कैंसर मुँह, जीभ, होंठ, गाल की अंदरूनी सतह या गले की ऊपरी सतह पर विकसित होने वाला कैंसर होता है. यह शुरुआत में ज्यादा दिखाई नहीं देता, इसीलिए इसे ‘साइलेंट किलर’ भी कहा जाता है. धीरे-धीरे बढ़ता यह कैंसर कई बार ध्यान में नहीं आता और गंभीर रूप ले लेता है. डॉक्टर बताते हैं कि समय पर पहचान और इलाज बहुत जरूरी है, ताकि जान बचाई जा सके.

 युवाओं में क्यों हो रहा है तेजी से फैलाव?
पहले जहां ओरल कैंसर का खतरा बुजुर्गों तक सीमित था, वहीं आज की पीढ़ी में यह तेजी से बढ़ रहा है. विशेषज्ञों के अनुसार इसका सबसे बड़ा कारण तंबाकू सेवन, पान मसाला, गुटखा और सिगरेट का उपयोग है. खासकर युवा वर्ग में ये आदतें बढ़ती जा रही हैं. इसके अलावा गलत खान-पान, कम सफाई, और अल्कोहल का अत्यधिक सेवन भी इस बीमारी को जन्म देता है. डॉक्टर का कहना है कि अंधविश्वास और जानकारी की कमी के कारण लोग लक्षणों को नजरअंदाज कर देते हैं और समय पर डॉक्टर से सलाह नहीं लेते.

ओरल कैंसर के लक्षण 
डॉक्टरअनमोल पाटिल बताते हैं कि ओरल कैंसर के शुरुआती लक्षण बहुत सामान्य होते हैं, जिनकी वजह से लोग अनदेखा कर देते हैं। कुछ मुख्य लक्षण इस प्रकार हैं:
1. मुँह में छाले या फोड़े जो समय के साथ बढ़ते जाएं और ठीक न हों

2. जीभ या होंठ पर सख्त गांठ या सफेद/लाल पैच

3. मुँह में दर्द, जलन या असहजता

4. बोलने या खाने में कठिनाई

5. अचानक वजन में कमी

6. गले में बार-बार खरोंच या गले में सूजन

7. गंजापन या आवाज में बदलाव

अगर ये लक्षण दो हफ्ते से ज्यादा बने रहें तो डॉक्टर से तुरंत संपर्क करना चाहिए. एक्सपर्ट डॉक्टर अनमोल पाटिल सलाह देते हैं कि समय पर जांच कराने से कैंसर को शुरुआती अवस्था में पकड़ा जा सकता है और सफल इलाज संभव हो पाता है.

उपचार के विकल्प
ओरल कैंसर के उपचार में शुरुआती अवस्था में सर्जरी, रेडियोथेरेपी और केमोथेरेपी प्रमुख हैं. डॉक्टर अनमोल पाटिल बताते हैं कि शुरुआती चरण में उपचार बेहद सफल होता है. वहीं अगर समय पर पहचान नहीं हुई, तो इलाज जटिल हो जाता है और मरीज की जान पर संकट आ जाता है. आजकल चिकित्सा तकनीक में काफी उन्नति हो चुकी है, जिससे सही समय पर उपचार करवाने पर मरीज पूरी तरह ठीक हो सकता है.

बचाव के उपाय
ओरल कैंसर से बचने के लिए कुछ जरूरी सावधानियां अपनाना बेहद आवश्यक है:
तंबाकू, गुटखा, पान मसाला, सिगरेट और अल्कोहल से पूरी तरह परहेज करें.
मुँह की सफाई का ध्यान रखें, नियमित रूप से ब्रश करें और समय-समय पर डेंटल चेकअप कराएं.
संतुलित आहार लें, जिसमें हरी सब्जियां, फल और पर्याप्त पानी शामिल हो.
किसी भी असामान्य लक्षण को नजरअंदाज न करें। समय रहते डॉक्टर से सलाह लें.
धूम्रपान और अन्य हानिकारक आदतों से बचें.

Disclaimer: इस खबर में दी गई दवा/औषधि और स्वास्थ्य से जुड़ी सलाह, एक्सपर्ट्स से की गई बातचीत के आधार पर है. यह सामान्य जानकारी है, व्यक्तिगत सलाह नहीं. इसलिए डॉक्टर्स से परामर्श के बाद ही कोई चीज उपयोग करें. Bharat.one किसी भी उपयोग से होने वाले नुकसान के लिए जिम्मेदार नहीं होगा.


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https://hindi.news18.com/news/lifestyle/health-oral-cancer-symptoms-treatment-precaution-know-from-khandwa-expert-doctor-anmol-patil-local18-9630173.html

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