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Falgun Amavasya 2025 Upay: 27 फरवरी दिन गुरुवार को फाल्गनु अमावस्या का पर्व मनाया जाएगा. यह दिन पितरों की पूजा के लिए बहुत खास माना जाता है. ज्योतिष शास्त्र में फाल्गुन अमावस्या का महत्व बताते हुए कुछ विशेष उपा…और पढ़ें

पितृदोष से जीवन में होती हैं ऐसी समस्याएं
हाइलाइट्स
- फाल्गुन अमावस्या पर पितरों की पूजा का विशेष महत्व है.
- पितृदोष से मुक्ति के लिए पीपल की पूजा करें.
- हनुमानजी की पूजा से जीवन की परेशानियां दूर होती हैं.
फाल्गुन मास के कृष्ण पक्ष की अमावस्या तिथि को फाल्गुन अमावस्या के नाम से जाना जाता है और यह शुभ तिथि 27 फरवरी दिन गुरुवार को है. शास्त्रों व पुराणों में अमावस्या तिथि का विशेष महत्व बताया गया है क्योंकि इस दिन भगवान नारायण और पितरों की पूजा अर्चना की जाती है. इस दिन पवित्र नदियों में स्नान कर तर्पण, पिंडदान, जप-तप, पूजा अर्चना और पितरों के नाम का दान करने का विशेष महत्व है. ऐसा करने से पितृदोष से मुक्ति मिलती है और परिवार पर पितरों का आशीर्वाद बना रहता है. आइए जानते हैं पितृ दोष से जीवन में किस तरह की समस्याओं का सामना करना पड़ता है और फाल्गुन अमावस्या पर पितृदोष से मुक्ति के कौन से उपाय करें…
पितृदोष से होती हैं ऐसी समस्याएं
कुंडली में अगर पितृदोष है तो जीवन में कई तरह की परेशानियों और कष्टों का सामना करना पड़ता है. ये समस्याएं जीवन के हर क्षेत्र में देखने को मिलती है. इस दोष की वजह से परिवार में लड़ाई-झगड़ा होता रहता है और किसी भी सदस्य की उन्नति नहीं हो पाती है. नौकरी व कारोबार में परेशानियां लगातार बनी रहती हैं और हर कार्य में लगातार घाटा होता रहता है. पितृदोष की वजह से परिवार के सदस्यों पर कलंक लगने का डर हमेशा बना रहता है और परिवार में कोई ना कोई सदस्य बीमार रहते है. परिवार में आकस्मिक निधन या दुर्घटना होने की आशंका बनी रहती है और वंश वृद्धि भी रुक जाती है. पितृ दोष होने की वजह से लगातार ऐसी समस्याएं होती रहती हैं इसलिए फाल्गुन अमावस्या के दिन कुछ विशेष उपाय करने से पितृदोष से राहत पाई जा सकती है और कालसर्प दोष भी दूर होता है.
इस उपाय से पितर होंगे प्रसन्न
फाल्गुन अमावस्या के दिन ब्रह्म मुहूर्त में पवित्र नदियों में स्नान करें और बहते हुए जल में काले तिल प्रवाहित कर दें. साथ ही पितरों के नाम का तर्पण और पिंडदान अवश्य करना चाहिए. साथ ही पितरों के नाम का ब्राह्मण भोज कराएं और गरीब व जरूरतमंद लोगों को दान भी करें. ऐसा करने से पितर प्रसन्न होते हैं और पितरों का आशीर्वाद मिलता है.
इस उपाय से पितृदोष से मिलेगी मुक्ति
फाल्गुन अमावस्या के दिन पीपल की पूजा अवश्य करें. इसके लिए आप जल में दूध मिलाकर पीपल की जड़ में प्रवाहित कर दें और फिर अक्षत, रोली, चंदन, फल-फूल आदि अर्पित करें. साथ ही पांच तरह की मिठाई अर्पित करें और फिर हाथ जोड़कर 11 परिक्रमा भी करें. ऐसा करने से पितृ दोष से मुक्ति मिलती है. साथ ही पीपल के पेड़ के नीचे पितृ चालीसा का पाठ भी करें. ऐसा करने से पितृदोष से राहत मिलती है.
इस उपाय से सभी कष्ट होंगे दूर
फाल्गुन अमावस्या के दिन हनुमानजी की विशेष पूजा अर्चना करना बहुत शुभ माना जाता है. इस दिन सुबह और शाम हनुमान चालीसा और सुंदरकांड का पाठ अवश्य करें. ऐसा करने से जीवन में चल रही परेशानियों का अंत होता है. साथ ही कालसर्प दोष से मुक्ति के लिए इस दिन पूजा करना बहुत शुभ माना जाता है. अगर कालसर्प दोष की पूजा करवा पाना संभव नहीं है तो फिलहाल के लिए आप चांदी के सर्प बनवाकर किसी शिव मंदिर में रख दें या फिर बहते हुए जल में प्रवाहित कर दें.
इस उपाय से परेशानियों से मिलेगी राहत
फाल्गुन अमावस्या के दिन दक्षिण दिशा में जल में काले तिल मिलाकर अर्घ्य दें. फिर शाम को सरसों के तेल का दीपक अवश्य जलाएं लेकिन ध्यान रखें कि दीपक का मुख दक्षिण दिशा की तरफ होना चाहिए. क्योंकि यह दिशा यम और पितर की दिशा मानी जाती है और इस दिन यम पूजा करने का भी विधान है. साथ ही इस दिन अपनी क्षमता के अनुसार, गरीब व जरूरतमंद लोगों को भोजन कराएं, वस्त्र दान करें और दान-दक्षिणा दें.
इस उपाय से पितरों का मिलेगा आशीर्वाद
फाल्गुन अमावस्या पर सुबह शाम कपूर जलाकर आरती करें. हर रोज कपूर जलाने से पितृदोष का शमन होता है. इसके लिए आप कपूर को घी में डूबो लें और फिर सुबह शाम घर में कपूर जलाए. कभी कभी आप गुड़ के साथ मिलाकर भी कपूर जला सकते हैं. साथ ही कौवा, कुत्ता, गाय, चीढ़िया को रोटी खिलाते रहें. ऐसा करने से पितृदोष से राहत मिलती है और परिजनों पर पितरों का आशीर्वाद बना रहता है.
February 26, 2025, 18:29 IST
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