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पितृपक्ष में किन ब्राह्मणों को भोज कराएं? आचार्य से जानें नियम, ताकि पितरों तक पहुंचे आपका श्राद्ध

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खरगोन. पितृपक्ष में पितरों की आत्मा की शांति के लिए ब्राह्मणों को भोजन कराने की परंपरा सदियों से चली आ रही है. लेकिन, सवाल यह उठता है कि ब्राह्मणों का चयन किन आधार पर किया जाए? शास्त्रों में इस पर विस्तार से बताया गया है कि किस तरह के ब्राह्मणों को भोजन कराना उचित है और किन्हें अनुचित. खरगोन के ज्योतिषाचार्य पंडित पंकज मेहता से जानते हैं कि शास्त्रों के अनुसार किन ब्राह्मणों को श्राद्ध भोज में बुलाना चाहिए.

ऐसे ब्राह्मणों को कराएं भोजन
Bharat.one से बातचीत में पंडित पंकज मेहता बताते हैं कि ब्राह्मण पुराण, विष्णु पुराण सहित अन्य शास्त्रों के अनुसार, ऐसे ब्राह्मण को भोजन कराना चाहिए जिसे वेदों और उपनिषदों का अच्छा ज्ञान हो. वह वेदों के सभी 6 अंगों का अध्ययन कर चुका हो, यानी उसे शास्त्रों की गहरी समझ हो. साथ ही, उसका आचरण शुद्ध हो, वह सत्य बोलने वाला हो, और उसका शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य ठीक हो.

इनको भी करा सकते हैं भोजन
इसके अलावा, अगर वह ब्राह्मण अपने परिवार में उच्च संस्कार रखता है या ब्राह्मण पुत्री का पुत्र (भांजा) हो, तो उसे भी भोजन कराया जा सकता है. साथ ही, अगर मृत व्यक्ति का कोई खास मित्र ब्राह्मण हो, तो उसे भी भोजन कराने का शास्त्रों में विशेष महत्व दिया गया है.

किन ब्राह्मणों को भोजन नहीं कराना चाहिए?
शास्त्रों में यह भी बताया गया है कि कुछ विशेष ब्राह्मणों को श्राद्ध भोज के लिए नहीं बुलाना चाहिए. जैसे जो झूठ बोलते हैं, उनके शरीर में कोई अंग दोष हो या जो किसी संक्रामक बीमारी से पीड़ित हों. इसके अलावा, जिनके दांत काले हों, जो नशा करते हों या गायत्री मंत्र का जाप नहीं करते हों, उन्हें भी श्राद्ध भोज में शामिल करने से मना किया गया है. शास्त्रों में यह भी लिखा है कि जो ब्राह्मण वेदों की शिक्षा पैसे लेकर देते हैं या चुगली और झूठ बोलने की आदत रखते हैं, उन्हें भी श्राद्ध भोज में शामिल नहीं करना चाहिए.

सही ब्राह्मण का चयन बहुत जरूरी
पंडित पंकज मेहता बताते है कि श्राद्ध भोज में ब्राह्मणों का चयन करते समय शास्त्रों में बताए गए नियमों का पालन करना जरूरी है. सही ब्राह्मण का चयन पितरों की आत्मा की शांति के लिए महत्वपूर्ण होता है. इसलिए, ब्राह्मण का चयन करते समय उसकी सत्यनिष्ठा, आचरण और विद्या का ध्यान रखना चाहिए, ताकि श्राद्ध कर्म सही तरीके से संपन्न हो सके.

Disclaimer: इस खबर में दी गई जानकारी, राशि-धर्म और शास्त्रों के आधार पर ज्योतिषाचार्य और आचार्यों से बात करके लिखी गई है. किसी भी घटना-दुर्घटना या लाभ-हानि महज संयोग है. ज्योतिषाचार्यों की जानकारी सर्वहित में है. बताई गई किसी भी बात का Bharat.one व्यक्तिगत समर्थन नहीं करता है.

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