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Vijayadashami 2025: देवघर के ज्योतिषाचार्य नंदकिशोर मुद्गल ने कहा कि विजयादशमी के दिन बुराई पर अच्छाई की जीत का प्रतीक माना जाता है. इस दिन देश के कई शहरों में रावण का पुतला दहन किया जाता है. इस साल विजयादशमी की तिथि कब, किस मुहूर्त मे रावण दहन करना चाहिए जानते है देवघर के ज्योतिषाचार्य जी से.
देवघरः विजयादशमी हिन्दू धर्म के लिये बेहद खास होता है. इस दिन को बुराई पर अच्छाई के जीत का प्रतीक माना जाता है. क्योंकि विजया दशमी के दिन ही भगवान राम ने लंका नरेश का वध किया था. इस त्यौहार को पुरे देश भर मे धूमधाम से मनाया जाता है. परम्परा के अनुसार हर जगह लंका दहन किया जाता है. इसके साथ ही इस दिन देशभर में रामलीला का आयोजन होता है, जिसमें भगवान राम के आदर्श जीवन और मर्यादा की झलक प्रस्तुत की जाती है. हर साल यह पर्व आश्विन माह के शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि को मनाया जाता है. इसी दिन मां दुर्गा की प्रतिमा का विसर्जन भी किया जाता है. इस साल विजयादशमी की तिथि कब है किस मुहूर्त मे रावण दहन करना चाहिए जानते है देवघर के ज्योतिषाचार्य जी से?
क्या कहते है देवघर के ज्योतिषाचार्य
देवघर के ज्योतिषाचार्य पंडित नंदकिशोर मुद्गल ने Bharat.one के संवाददाता से बातचीत करते हुए कहा कि अश्विन माह के शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि को दशहरा यानी विजयदशमी का पर्व मनाया जाता है. प्रदोष काल में रावण, मेघनाद और कुंभकर्ण के पुतलों का दहन किया जाता है. इन पुतलों को अहंकार, अन्याय और अधर्म के नाश का प्रतीक है. इसके साथ ही इस दिन लोग एक-दूसरे को दशहरा की शुभकामनाएं देते हैं. इस साल दशमी तिथि दो दिन होने के कारण दशहरी की तिथि को लेकर काफी असमंजस की स्थिति बनी हुई है.
देवघर के ज्योतिषाचार्य पंडित नंदकिशोर मुद्गल ने Bharat.one के संवाददाता से बातचीत करते हुए कहा कि अश्विन माह के शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि को दशहरा यानी विजयदशमी का पर्व मनाया जाता है. प्रदोष काल में रावण, मेघनाद और कुंभकर्ण के पुतलों का दहन किया जाता है. इन पुतलों को अहंकार, अन्याय और अधर्म के नाश का प्रतीक है. इसके साथ ही इस दिन लोग एक-दूसरे को दशहरा की शुभकामनाएं देते हैं. इस साल दशमी तिथि दो दिन होने के कारण दशहरी की तिथि को लेकर काफी असमंजस की स्थिति बनी हुई है.
कब मनाया जायेगा विजयादशमी
ज्योतिषाचार्य कहते हैं कि ऋषिकेश पंचांग के अनुसार आश्विन माह के शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि की शुरुआत 1 अक्टूबर को शाम 7 बजकर 1 मिनट पर हो रही है. वहीं इस तिथि के समापन की बात की जाए, तो यह तिथि 2 अक्टूबर को शाम 7 बजकर 10 मिनट पर समाप्त होगी. उदयातिथि और प्रदोष काल दोनों 02 अक्टूबर को पड़ रहा है. इस अनुसार विजयादशमी का पर्व गुरुवार, 2 अक्टूबर को मनाया जाएगा. खास बात यह है कि इस दिन रवि योग भी बन रहा है, जिससे इस त्योहार का महत्व और बढ़ जाता है.
ज्योतिषाचार्य कहते हैं कि ऋषिकेश पंचांग के अनुसार आश्विन माह के शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि की शुरुआत 1 अक्टूबर को शाम 7 बजकर 1 मिनट पर हो रही है. वहीं इस तिथि के समापन की बात की जाए, तो यह तिथि 2 अक्टूबर को शाम 7 बजकर 10 मिनट पर समाप्त होगी. उदयातिथि और प्रदोष काल दोनों 02 अक्टूबर को पड़ रहा है. इस अनुसार विजयादशमी का पर्व गुरुवार, 2 अक्टूबर को मनाया जाएगा. खास बात यह है कि इस दिन रवि योग भी बन रहा है, जिससे इस त्योहार का महत्व और बढ़ जाता है.
रावण दहन का शुभ मुहूर्त
ज्योतिषाचार्य कहते है की 02बजकर 16 मिनट से लेकर 06 बजकर40मिनट तक रावण दहन करने का शुभ मुहूर्त रहने वाला है.
Amit ranjan
मैंने अपने 12 वर्षों के करियर में इलेक्ट्रॉनिक, प्रिंट और डिजिटल मीडिया में काम किया है। मेरा सफर स्टार न्यूज से शुरू हुआ और दैनिक भास्कर, दैनिक जागरण, दैनिक भास्कर डिजिटल और Bharat.one तक पहुंचा। रिपोर्टिंग से ले…और पढ़ें
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