हम सभी जानते हैं कि सब्जियां सेहत के लिए बहुत अच्छी होती हैं. इसलिए डॉक्टर और न्यूट्रिशनिस्ट हमें हर दिन ज्यादा से ज्यादा सब्जियां खाने की सलाह देते हैं. हालांकि, हर सब्जी हर किसी के लिए उपयुक्त नहीं होती. विशेषज्ञ यह भी कहते हैं कि कुछ सब्जियां कुछ लोगों के लिए अच्छी नहीं होतीं. इनमें से एक है करेला की सब्जी, जी हां, आपने सही सुना. करेला की सब्जी जितने फायदे आपने सुने होंगे, उतने ही इसके नुकसान भी हैं. करेला अगर ज्यादा खा लिया जाए तो कई तरह की स्वास्थ्य संबंधी समस्या का सामना करना पड़ सकता है. आइए जानते हैं करेला की सब्जी से किन किन लोगों को दूरी बनाकर रखनी चाहिए…
करेला अपने कड़वे स्वाद के बावजूद, यह डायबिटीज पेशेंट के लिए बेहद फायदेमंद होती है. क्योंकि इसमें ब्लड शुगर के स्तर को कम करने का गुण होता है. लेकिन जिन लोगों का ब्लड शुगर का स्तर स्वाभाविक रूप से कम होता है या जिन्हें हाइपोग्लाइसीमिया होने का खतरा होता है, उनके लिए करेला खाने से खतरनाक हो सकता है. इससे चक्कर आना, बेहोशी, अत्यधिक पसीना आना, चिड़चिड़ापन, भ्रम या अनियमित दिल की धड़कन जैसी समस्याएं हो सकती हैं.

गर्भवती महिला विशेषज्ञ से सलाह लेकर करेला खाएं
गर्भवती महिलाओं को भी करेला खाते समय सावधानी बरतनी चाहिए. कच्चा या गाढ़ा करेला खाने से गर्भाशय में संकुचन बढ़ सकता है, समय से पहले प्रसव हो सकता है या गर्भपात हो सकता है. थोड़ी मात्रा में पका हुआ करेला खाना कुछ हद तक सुरक्षित है. हालांकि, गर्भवती महिलाओं को इसे अपने आहार में शामिल करने से पहले डॉक्टर से सलाह लेनी चाहिए.
लिवर वाले डॉक्टर से पहले सलाह लें
इसके अलावा, लिवर या किडनी की समस्या वाले लोगों को भी ज्यादा करेला नहीं खाना चाहिए. क्योंकि इसके यौगिक लिवर द्वारा विघटित होकर किडनी के जरिए बाहर निकल जाते हैं. जिन लोगों के अंग पहले से ही कमजोर हैं, उनके लिए अतिरिक्त तनाव बढ़ सकता है और स्थिति और भी गंभीर हो सकती है.
BP की दवाई लेने वाले ध्यान रखें यह बात
ब्लड शुगर कम करने वाली दवाएं लेने वालों को भी करेला खाने में सावधानी बरतनी चाहिए. अगर इंसुलिन या अन्य हाइपोग्लाइसेमिक गोलियां लेने वाले लोग बहुत ज्यादा करेला खाते हैं, तो दवाओं का असर और बढ़ जाएगा और ब्लड शुगर का स्तर खतरनाक स्तर तक गिर जाएगा. साथ ही पाचन संबंधी समस्याओं वाले लोगों के लिए भी करेला खाना समस्याएं खड़ी कर सकता है.
छोटे बच्चे भी करेले को लेकर ध्यान रखें
करेले में मौजूद उच्च फाइबर और कड़वे तत्व अल्सर, एसिड रिफ्लक्स और आईबीएस से पीड़ित लोगों में पेट में ऐंठन, मतली या दस्त का कारण बन सकते हैं. यहां तक कि छोटे बच्चे भी अगर ज्यादा मात्रा में करेला खाते हैं, तो उन्हें पाचन संबंधी समस्याएं हो सकती हैं.
करेले से होती हैं ये बीमारियां
स्वस्थ लोग भी ज्यादा मात्रा में करेला खाते हैं तो उनको भी कई तरह की स्वास्थ्य संबंधी समस्याएं हो सकती हैं, जैसे मतली, उल्टी, दस्त, पेट दर्द, चक्कर आना, थकान और पसीना आने जैसी समस्याओं का अनुभव कर सकते हैं. ये प्रभाव विशेष रूप से बड़ी मात्रा में सेवन करने पर स्पष्ट दिखाई देते हैं. इसलिए करेले का सेवन पूरी तरह से बंद करने की आवश्यकता नहीं है. लेकिन यह जानना बेहतर है कि यह किन लोगों के लिए उपयुक्त है और किन लोगों के लिए नहीं और संतुलित आहार में इसे कम मात्रा में ही लें. ऐसा करने से स्वास्थ्य लाभ मिलेगा और नुकसान से बचा जा सकेगा.
.
.
.
.
.
.
.
.
.
.
.
.
.
.
.
https://hindi.news18.com/news/lifestyle/health-never-eat-bitter-gourd-if-you-have-these-health-problems-ws-kln-9668235.html