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Animal Health Care: हजारीबाग के पशु एक्सपर्ट डॉ. मुकेश कुमार सिन्हा के अनुसार, सर्दियों में पशुओं को सरसों खली खिलानी चाहिए. यह पशुपालकों की पहली पसंद भी है. वहीं, इसे खिलाने से पशुओं की सेहत मजबूत होती है. साथ ही गाय-भैंस दूध की मात्रा भी बढ़ा देते हैं.
ठंड के मौसम में जहां इंसानों को अतिरिक्त पोषण और गर्माहट की जरूरत होती है. वहीं, पशुओं की देखभाल भी इस दौरान बेहद अहम हो जाती है. सर्दियों में तापमान गिरने के कारण पशुओं के शरीर को अधिक ताकत की आवश्यकता होती है. ऐसे में पशुपालकों को पशुओं के आहार पर विशेष ध्यान देने की सलाह दी जाती है.
इस विषय पर राजकीय पशु चिकित्सालय हजारीबाग के वेटरनरी सर्जन डॉ. मुकेश कुमार सिन्हा बताते हैं कि बढ़ते सर्दियों को देखते हुए पशुपालकों को पशुओं को सरसों खली खिलाना चाहिए. सरसों खली एक उत्तम प्रोटीन स्रोत है, जो ठंड के मौसम में पशुओं की सेहत बनाए रखने में अहम भूमिका निभाती है. इसमें प्रोटीन के साथ-साथ वसा और खनिज तत्व भी प्रचुर मात्रा में पाए जाते हैं, जो पशुओं को अंदरूनी गर्माहट प्रदान करते हैं और इससे उनकी रोग प्रतिरोधक क्षमता को मजबूत बनते हैं.
उन्होंने बताया कि सर्दियों में पशुओं की भूख सामान्य से कम हो जाती है, जिससे दूध उत्पादन और शारीरिक ताकत पर असर पड़ता है. ऐसे में सरसों खली खिलाने से पशुओं की भूख बढ़ती है और पाचन तंत्र मजबूत रहता है. इसका सीधा असर दूध देने वाले पशुओं पर पड़ता है, जिससे दूध की मात्रा और गुणवत्ता दोनों में सुधार देखा जाता है.
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उन्होंने बताया कि सरसों खली में मौजूद वसा ठंड के समय शरीर को अतिरिक्त ताकत प्रदान करते हैं. यह खासकर दुधारू गाय और भैंस के लिए बेहद उपयोगी होती है. नियमित रूप से संतुलित मात्रा में सरसों खली देने से पशुओं को ठंड से बचाव में मदद मिलती है और वे सर्द से जुड़ी बीमारियों से पशु सुरक्षित रहते हैं.
डॉ. मुकेश सिन्हा ने बताया कि सरसों खली हड्डियों और मांसपेशियों को मजबूत बनाने में सहायक होती है. इसमें मौजूद खनिज तत्व पशुओं की शारीरिक वृद्धि में मदद करते हैं, खासकर बछड़ों और कमजोर पशुओं के लिए यह बेहद फायदेमंद है. सर्दियों में अक्सर पशुओं में कमजोरी और सुस्ती देखने को मिलती है, जिसे सरसों खली दूर करने में मददगार साबित होती है.
उन्होंने पशुपालकों को सलाह दी कि सरसों खली को हमेशा संतुलित मात्रा में ही पशुओं को देना चाहिए. अत्यधिक मात्रा में खली देने से पाचन संबंधी समस्याएं हो सकती हैं. इसे भूसे, हरे चारे या दाने के साथ मिलाकर देना अधिक लाभकारी होता है. ताकि पशुओं को पूरा पोषण मिल सके.
उन्होंने यह भी कहा कि सरसों खली के साथ-साथ पशुओं को गुनगुना पानी पिलाना और साफ-सुथरा वातावरण देना भी जरूरी है. ठंड के मौसम में पशु बेड़ा को हवा और नमी से बचाना चाहिए, ताकि पशु स्वस्थ रह सकें और किसी भी प्रकार की बीमारी का खतरा न हो.
उन्होंने कहा कि यदि पशुपालक सर्दियों के मौसम में पशुओं के आहार में सरसों खली को सही तरीके से शामिल करें, तो न केवल पशुओं की सेहत बेहतर रहेगी बल्कि दूध उत्पादन बढ़ेगा और पशुपालकों की आय में भी इजाफा होगा.
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https://hindi.news18.com/photogallery/lifestyle/health-sarson-khali-boosts-animal-health-and-milk-production-in-winter-local18-ws-l-9977460.html
